भारतीय रेल में सुधार के तहत कमर्शियल इंस्पेक्टर की नौकरी के लिए स्नातक होने के साथ एमबीए होना जरूरी होगा. रेलवे में खाली पदों पर आवदेन के लिए युवाओं के लिए इस न्यूनतम योग्यता को अनिवार्य कर दिया गया है. रेलवे बोर्ड ने इस बाबत 28 जून को सभी जोनल रेलवे को निर्देश जारी कर दिए हैं.
रेलवे बार्ड की ओर से टिकट चेकिंग स्टाफ, कमर्शियल क्लर्क, इंक्वायरी कम रिजर्वेशन क्लर्क के पदों को विलय करने की प्रक्रिया पहले से चल रही है. रेलवे अधिकारियों ने बताया कि वर्तमान में सभी कमर्शियल विभाग के कर्मचारियों (ग्रुप-सी) की ड्यूटी बंटी हुई है और वह एक-दूसरे का काम नहीं कर सकते हैं. वर्तमान में टीटीई बुकिंग क्लर्क का काम नहीं कर सकता और बुकिंग क्लर्क ट्रेन में टिकट चेकिंग का काम नहीं कर सकता. बुकिंग क्लर्क रेलवे के टिकट काउंटर पर टिकट बुकिंग करते हैं और कमर्शियल इंस्पेक्टर अवैध वेडिंग की रोकथाम आदि का कार्य करते हैं.
सभी पदों का विलय सुधार के तहत अब कमर्शियल विभाग के उपरोक्त सभी पदों का विलय कर दिया गया है और रेलवे जरूरत के अनुसार उनकी तैनाती कर सकता है. कमर्शियल इंस्पेक्टर को चीफ कमर्शियल कम टिकट क्लर्क कैडर में विलय किया गया. इसी प्रकार ट्रैफिक इंस्पेक्टर बतौर कमर्शियल इंस्पेक्टर व चीफ कमर्शियल कम टिकट क्लर्क के पद पर काम कर सकेंगे.
कमर्शियल विभाग में 15 प्रतिशत पदों पर सीधी भर्ती की जाएगी. कमर्शियल इंस्पेक्टर के पद के लिए अभ्यर्थी को स्नातक के साथ एमबीए होना जरूरी होगा. कमर्शियल विभाग में कार्यरत 10 फीसदी कर्मियों को उनकी योग्यता के आधार पर पदोन्नति दी जाएगी. इसके 75 फीसदी पदों को चरणबद्ध पदोन्नति के अनुसार भरा जाएगा. रेलवे सभी पदों के लिए कर्मियों का पृथक प्रशिक्षण कराएगी. सीधी भर्ती के कर्मचारियों को एक साल का प्रशिक्षण, 10 फीसदी टेलेंट कर्मियों को छह माह व पदोन्नति के अनुसार नियुक्ति के लिए दो माह का कोर्स कराया जाएगा.