फ्रांस के न्यायाधीशों ने टेलीग्राम के सीईओ पावेल ड्यूरोव पर आरोप तय किए हैं। उन्हें जमानत पर रिहा किया गया, लेकिन फ्रांस छोड़ने पर रोक लगा दी गई। पावेल को शनिवार को पेरिस के बे बॉर्गेट हवाई अड्डे पर हिरासत में लिया गया था। चार दिनों की पूछताछ के बाद पावेल को बुधवार को अदालत में पेश किया गया और जमानत मिल गई।
गिरफ्तारी के बाद, अभिव्यक्ति की स्वतंत्रता के समर्थक और सत्तावादी सरकारें ड्यूरोव के पक्ष में बोल रही हैं। इस मामले ने ऑनलाइन अवैध गतिविधियों और ड्यूरोव की असामान्य जीवनी पर ध्यान आकर्षित किया है। जांच शुरू होने के बाद, पावेल को पेरिस के बाहर ले बॉर्गेट हवाई अड्डे पर हिरासत में लिया गया था।
मीडिया रिपोर्ट्स के अनुसार, पेरिस अभियोजक कार्यालय ने पावेल ड्यूरोव पर प्रारंभिक आरोप दायर किए हैं। न्यायाधीशों ने उन्हें 50 लाख यूरो की जमानत पर रिहा किया है। पावेल को सप्ताह में दो बार पुलिस स्टेशन में रिपोर्ट करने और जांच में सहयोग देने का आदेश दिया गया है।
आरोप है कि टेलीग्राम एप का इस्तेमाल बाल यौन शोषण और मादक पदार्थों की तस्करी के लिए किया गया है। टेलीग्राम प्रबंधन पर आरोप है कि उन्होंने आरोपों से संबंधित दस्तावेज साझा करने से इनकार किया। जांचकर्ताओं ने टेलीग्राम से सहयोग की मांग की, जिसे कंपनी ने कथित तौर पर ठुकरा दिया।
फ्रांसीसी कानून के तहत प्रारंभिक आरोप तय करना यह दर्शाता है कि अपराध करने का ठोस कारण है। अब आगे की जांच के लिए समय दिया गया है। ड्यूरोव के वकील का कहना है कि सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म के अपराधों के लिए प्लेटफॉर्म के मालिक को जिम्मेदार ठहराना गलत है।
फ्रांसीसी अधिकारियों ने बच्चों के खिलाफ अपराधों के आरोपियों के डेटा की जांच के लिए टेलीग्राम से मदद मांगी थी। टेलीग्राम ने जांच में सहयोग से इनकार किया, जिसके बाद फ्रांस ने प्रारंभिक जांच शुरू की।