
अहमदाबाद. गुजरात एटीएस (Gujarat Riots) की टीम शनिवार को एक्टिविस्ट तीस्ता सीतलवाड़ (Teesta Setalvad) के घर पहुंची। टीम ने उन्हें हिरासत में ले लिया है और गुजरात एटीएस टीम के साथ स्थानीय पुलिस की टीम सांताक्रूज थाने लेकर आई है। टीम ने जब तीस्ता को जीप में बिठाने की कोशिश की, तो उनके कार्यालय के कर्मचारियों और समर्थकों की जांच टीम से बहस हो गई।
मीडिया रिपोर्ट्स के अनुसार, एक्टिविस्ट तीस्ता सीतलवाड़ के खिलाफ कार्रवाई आईपीसी की धारा 468 के तहत की गई है। सुप्रीम कोर्ट की टिप्पणीयिों के बाद कार्यकर्ता को हिरासत में लिया गया है। गुजरात एटीएस ने शनिवार को तीस्ता सीतलवाड़ को उनके एनजीओ से जुड़े एक विदेशी फंड मामले में उनके घर से हिरासत में लिया।
तीस्ता सीतलवाड़ के एनजीओ ने पुलिस को 2002 के दंगों के बारे में जानकारी दी थी और उसके नाम का उल्लेख सुप्रीम कोर्ट के उस फैसले में किया गया है। जिसने नरेंद्र मोदी को एसआईटी की क्लीन चिट को बरकरार रखा। गुजरात एटीएस ने केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह के द्वारा शनिवार को गुजरात दंगों को लेकर सुप्रीम कोर्ट की ओर से याचिका खारिज के फैसले पर समाचार एजेंसी एएनआई को इंटरव्यू के दौरान तीस्ता सीतलवाड़ की आलोचना करने के कुछ घंटों कार्रवाई की। शाह ने इंटरव्यू के दौरान कहा कि उनके एनजीओ ने गुजरात दंगों के बारे में आधारहीन जानकारी दी थी।
सुप्रीम कोर्ट शुक्रवार को सीतलवाड़ पर आगे की जांच का आह्वान किया और कहा था कि किसके इशारे पर सीतलवाड़ ने नरेंद्र मोदी के खिलाफ 16 साल तक अभियान चलाया। अब पुलिस इस मामले में पूछताछ करेगी। 2002 के दंगों (gujarat riots 2002) के मामले में तत्कालीन राज्य के मुख्यमंत्री नरेंद्र मोदी के खिलाफ याचिका को कोर्ट ने खारिज कर दिया।